
- कृषि कानूनों के विरोध में रांची महानगर कांग्रेस का एकदिवसीय सत्याग्रह
Ranchi: केंद्र सरकार के पारित तीन कृषि काले कानूनों के विरोध में रांची महानगर कांग्रेस ने शनिवार को मोरहाबादी स्थित बापू वाटिका में एक दिवसीय धरना दिया. यह धरना पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय इंदिरा गांधी की पुण्यतिथि एवं लौह पुरुष सरदार वल्लभभाई पटेल की जयंती के अवसर पर दिया गया.
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सत्याग्रह की अध्यक्षता महानगर कांग्रेस अध्यक्ष संजय पांडे के नेतृत्व में किया गया. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए संजय पांडे ने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था कृषि आधारित अर्थव्यवस्था है, लेकिन वर्तमान केंद्र सरकार तानाशाही रवैया अपनाते हुए कृषि जगत को भी पूंजीपतियों के हाथों में सौंपने की तैयारी कर चुकी है.
मोदी सरकार ने इस कानून से किसानों के सामने एक भीषण संकट खड़ा कर दिया है. ऐसे कानून से देश के किसान अपने ही खेत में मजदूर बनकर रह जाएंगे. उन्होंने कहा कि कृषक वर्ग के उत्थान के लिए कांग्रेस ने फसलों पर न्यूनतम समर्थन मूल्य की नीति लागू की थी, परंतु वर्तमान सरकार ने इस नीति को खत्म कर अपनी विकृत मानसिकता का परिचय दिया है.
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कार्यक्रम मे मुख्य रूप से रांची ग्रामीण जिला अध्यक्ष सुरेश बैठा, महानगर अल्पसंख्यक अध्यक्ष अख्तर अली सहित कई कांग्रेसी उपस्थित थे. इस अवसर पर प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता राजीव रंजन प्रसाद ने बताया कि आज का दिन भारत के इतिहास के दो महान विभूतियों को नमन करने का दिन हैं. जहां एक ओर आजादी के नायक सरदार वल्लभ भाई पटेल को लौह पुरुष का दर्जा दिया गया हैं वहीं दृढ़ निश्चय एवं अपने कठोर फैसलों के लिए जानी जानी वाली महिला स्वर्गीय इंदिरा गांधी को लौह महिला की उपाधि दी गयी. सरदार पटेल ने जहां अंग्रेज सरकार द्वारा किसानों के खिलाफ लागू कानून के विरोध में बारडोली का आंदोलन छेड़ा था वही स्वर्गीय गांधी ने हरित क्रांति ला कर देश के विकास में किसानों के अहम योगदान को स्वीकार किया था.
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