
Bhopal : कोरोना का संक्रमण और फिर लॉकडाउन का असर देखते हुए देश के सभी धार्मिक स्थलों को बंद किया गया है. एक साथ जमा होकर धार्मिक या किसी तरह के काम करने पर पाबंदी है. लेकिन मध्यप्रदेश के रतलाम में कुछ लोग इस आदेस को मानने को लिए तैयार नहीं है. शुक्रवार को कुछ लोग रतलाम की एक मस्जिद में जुमे की नमाज अदा करने के जमा हुए थे.
पुलिस को इसकी सूचना मिल गयी. पुलिस प्रशासनिक अधिकारियों के साथ मस्जिद पहुंची. पुलिस को देखकर वहां अफऱा-तफरी फैल गयी. कुछ भागने में कामयाब हो गये. कुछ को पुलिस पीटते हुए अपने साथ ले गयी. छह लोगों को जेल भेजा गया है. इनके अलावा कई अन्य पर केस दर्ज किया गया है.
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मप्र में कोविड-19 के मरीजों की संख्या बढ़कर 1,360 हुई




बता दें कि मध्यप्रदेश के इन्दौर में शुक्रवार रात को कोविड-19 संक्रमण के 50 नए मामले सामने आने के बाद प्रदेश में कोरोना वायरस से संक्रमित मरीजों की तादाद बढ़कर 1,360 पर पहुंच गयी है.
प्रदेश के एक स्वास्थ्य अधिकारी ने शनिवार को बताया कि प्रदेश में कोरोना वायरस के 1,360 मरीजों में से अब तक 69 लोगों की मौत हो चुकी है. उन्होंने बताया कि इंदौर में कोरोना वायरस से 892 लोग संक्रमित हैं. इन्दौर में इस घातक महामारी से अब तक 47 लोगों की मौत हो चुकी है.
अधिकारी ने बताया कि इसके अलावा भोपाल और उज्जैन में छह-छह, देवास में पांच, खरगोन में चार और छिंदवाड़ा में एक व्यक्ति की कोरोना वायरस से मौत हुई है. कोरोना वायरस का घातक संक्रमण मध्यप्रदेश के 25 जिलों में फैल चुका है. प्रदेश में कुल 52 जिले हैं.
उन्होंने बताया कि प्रदेश में कोरोना वायरस से संक्रमित 99 लोग शनिवार तक स्वस्थ होकर अस्पताल से घर जा चुके हैं.
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सरकार ने गठित की 13 सदस्यीय सलाहकार समिति
मध्यप्रदेश में कोरोना वायरस वैश्विक महामारी से निपटने के लिए प्रदेश सरकार ने 13 सदस्यीय सलाहकार समिति का गठन किया है. इस समिति में नोबेल पुरस्कार विजेता कैलाश सत्यार्थी और 12 अन्य लोग शामिल हैं.
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने 23 मार्च को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी. मंत्रिपरिषद का गठन नहीं होने के कारण मध्यप्रदेश में फिलहाल कोई स्वास्थ्य मंत्री नहीं है. कोरोना वायरस के प्रकोप और उसके बाद लागू देशव्यापी बंद के कारण प्रदेश में भाजपा सरकार की मंत्रिपरिषद का गठन नहीं हो पाया है और 23 मार्च से मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान बिना मंत्रिपरिषद के सरकार चला रहे हैं.
प्रदेश के सामान्य प्रशासन विभाग के एक अधिकारी ने शनिवार को बताया कि कोविड-19 के मामलों की वृद्धि को देखते हुए सरकार ने इस महामारी से निपटने के लिए एक सलाहकार समिति का गठन किया है. इसमें कैलाश सत्यार्थी के अलावा आठ डॉक्टर, एक सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी और एक सेवानिवृत्त आईपीएस अधिकारी शामिल किए गये हैं.
उन्होंने बताया कि इस समिति में प्रदेश की पूर्व मुख्य सचिव निर्मला बुच, सेवानिवृत्त आईपीएस अधिकारी सरबजीत सिंह, मध्यप्रदेश नर्सिंग होम एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ जितेन्द्र जामदार और इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष डॉ मुकुल तिवारी सदस्य बनाए गए हैं.
उन्होंने बताया कि समिति कोरोना वायरस महामारी से निपटने के लिए सरकार को सुझाव देगी. इसके साथ ही समिति लोगों के कल्याण और नीति निर्धारण के लिए भी समय-समय पर अपने सुझाव सरकार को दे सकेगी.
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