
NewDelhi : माकपा, भाकपा और राजद ने संशोधित नागरिकता कानून (CAA) के खिलाफ प्रदर्शन करने वालों पर पुलिस कार्रवाई को लेकर बुधवार को उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार पर निशाना साधा और दावा किया कि इस पूरे आंदोलन को धार्मिक रंग देने की कोशिश की गयी, जबकि यह संविधान बचाने के लिए किया जा रहा संघर्ष है.
माकपा महासचिव सीताराम येचुरी ने भाकपा, राजद और लोकतांत्रिक जनता दल एवं कुछ मानवाधिकार कार्यकर्ताओं की मौजूदगी में पत्रकारों से कहा, हम उत्तर प्रदेश के घटनाक्रमों को लेकर चिंता प्रकट करते हैं.
इसे भी पढ़ें : सीएए और एनआरसी के विरोध में देशभर में बन चुके हैं कई नये शाहीनबाग


सिर्फ भाजपा शासित राज्यों में प्रदर्शनकारियों पर गोली चलाई गयी




उप्र में विरोध प्रदर्शन का जवाब योगी ने बहुत ही निंदनीय तरीके से दिया और कहा कि हम बदला लेंगे. उन्होंने दावा किया कि सिर्फ भाजपा शासित राज्यों में प्रदर्शनकारियों पर गोली चलाई गयी, जिनमें 20 से ज्यादा लोगों की मौत हुई. येचुरी ने कहा, हम इस कानून को संविधान विरोधी कहते हैं क्योंकि आजादी के बाद पहली बार नागरिकता देने के लिए धर्म को आधार बनाया गया. उन्होंने कहा कि संविधान की रक्षा करने के लिए संघर्ष करना सबसे बड़ी देशभक्ति है.
इसे भी पढ़ें : अब #NIA_Act के खिलाफ छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की
प्रदर्शनकारियों की पिटाई की गयी
लखनऊ में विरोध प्रदर्शन के दौरान गिरफ्तार किये गये पूर्व आईपीएस अधिकारी एस आर दारापुरी ने कहा कि राज्य की पुलिस ने नियमों को ताक पर रखकर काम किया और प्रदर्शनकारियों की पिटाई की गयी. उन्होंने सवाल किया कि जब उप्र पुलिस के लोग उनके साथ ऐसा व्यवहार कर सकते हैं तो आम लोगों के साथ कैसा व्यवहार करते होंगे? भाकपा महासचिव डी राजा, लोजद नेता शरद यादव और राजद संसद मनोज झा भी संवाददाता सम्मेलन में मौजूद थे.
इसे भी पढ़ें : #Raisina_Dialogue : दमनकारी शासकों के खिलाफ दुनिया के सभी लोकतांत्रिक देशों को एकजुट करने की वकालत