Lohardaga: काल्याण विभाग की ओर से वनाधिकार कानून पर कार्यशाला आयोजित हुई. कार्यशाला में लोहरदगा जिला के सुदूर क्षेत्र के वन क्षेत्र में रहने वाले आदिवासी समुदाय और आदिम जनजाति समुदाय के लोगा शमिल हुए. कार्यशाला में वन भूमि पर खेती कर जीविका चलानेवाले आदिवासी परिवार को वन भूमि का पट्टा प्राप्त करने के लिए किये जाने वाले आवेदन की बरीकियों को बताया गया. कार्यशाला में पेशरार, किस्को, कुडू प्रखंड के वनाश्रित समुदाय के लोग शामिल हुए.
वनाधिकार दावे की बारीकियों से अवगत कराया
कार्यशाला को डीएफओ, जिला कल्याण पदाधिकारी ने भी संबोधित किया. झारखंड वनाधिकार मंच की और से तकनीकी सत्र को संचालित किया गया. तकनीकि सत्र के दैरान फादर जार्ज मोनीपल्ली, सुधीर पाल तथा कामिनी ने सामुदायिक वनाधिकार दावे से संबंधित विविध पहलुओं की जानकारी दी. कार्यशाला में लोगों ने इस कानून के तहत दावेदारी की प्रक्रिया शरू करने की प्रतिबद्धता दिखायी.
वनाधिकार समिति के गठन का निर्णय
कार्यशाला में 12 गांव में वनाधिकार समिति का गठन करने का निर्णय लिया गया. इसके लिए ग्रामसभा की बैठकें 19 से 28 फरवरी के बीच आयोजित करने का निर्णय लिया. समिति के गठन में सभी औपचारिकता की जनकारी देने की जिम्मेवारी वन अधिकार मंच की ओर से ली गयी. जार्ज मोनोपोल्ली ने तकनीकी सहायता उपलब्ध कराने की घोषणा की पेशकश की. इसे विभाग ने स्वीकार कर लिया. कार्यशाला को सफल बनाने में मंच के सह संयोजक भयभंजन महतो की भूमिका सराहनीय रही.
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