RBI विवादः वित्त मंत्री जेटली के खिलाफ PIL सुप्रीम कोर्ट ने की खारिज, वकील पर 50 हजार का जुर्माना
New Delhi: देश के उच्चतम न्यायालय ने भारतीय रिजर्व बैंक के कैपिटल रिजर्व के संबंध में वित्त मंत्री अरुण जेटली के खिलाफ आरोपों वाली एक जनहित याचिका को शुक्रवार को खारिज कर दी. शीर्ष अदालत ने जनहित याचिका दायर करने वाले वकील एम एल शर्मा पर 50 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है.
प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई और न्यायमूर्ति एस के कौल की पीठ ने कहा, ‘हमें इस पीआईएल पर विचार करने की जरा भी वजह नजर नहीं आती.’ शर्मा ने वित्त मंत्री जेटली पर आरबीआई के कैपिटल रिजर्व में लूट का आरोप लगाया था. पीठ ने शीर्ष अदालत की रजिस्ट्री को भी निर्देश दिया कि शर्मा को तब तक अन्य कोई पीआईएल दाखिल करने की इजाजत नहीं दी जाए, जब तक वह 50 हजार रुपये जमा नहीं कर देते.
शीर्ष अदालत ने जुर्माना इसलिए लगाया क्योंकि वकील ने पीआईएल खारिज होने के बाद भी दलीलें जारी रखीं. प्रधान न्यायाधीश ने उन्हें दलीलें जारी नहीं रखने की हिदायत दी और कहा कि अगर वह अदालत को संतुष्ट नहीं कर सके तो जुर्माना लगाया जाएगा. शीर्ष अदालत ने इस बात पर नाखुशी जताई कि वकील ने वित्त मंत्री को जनहित याचिका में मुख्य पक्ष बनाया.
उल्लेखनीय है कि वकील मनोहर लाल शर्मा ने वित्त मंत्री अरुण जेटली के खिलाफ उच्चतम न्यायालय में एक जनहित याचिका दायर करते हुए वित्त मंत्री के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी. अपनी याचिका में उन्होंने आरोप लगाया था कि वह कुछ कंपनियों को ऋण छोड़ने के लिए आरबीआई के पूंजीगत रिजर्व को ‘लूट’ लेना चाहते हैं. जिसे शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया.
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