
Uday Chandra
New Delhi: प्रियंका गांधी के सक्रिय राजनीति में आने के बाद अब उनके पति रॉबर्ट वाड्रा ने भी राजनीति में आने का खुला ऐलान शुक्रवार को कर डाला. राजस्थान की राजधानी जयपुर के ऐतिहासिक मोती डूंगरी मंदिर में भगवान गणेश के दरबार में मत्था टेकने के बाद रॉबर्ट वाड्रा ने कहा कि वो जनता की सेवा करना चाहते हैं और इसके लिए उन्हें राजनीति में आना ही पड़ेगा. रॉबर्ट वाड्रा के इस ऐलान के बाद यहां दिल्ली में कांग्रेसी खेमे में काफी हलचल देखी जा रही है.
राजनीति में आने के बाद वाड्रा गाजियाबाद या मुरादाबाद से चुनाव लड़ सकते हैं. इसका संकेत भी खुद वाड्रा ने ही दिया है. उन्होंने कहा कि उनके कुछ समर्थक चाहते हैं कि मैं अपने गृहनगर मुरादाबाद से चुनाव लड़ूं लेकिन कुछ लोग गाजियाबाद से मुझे चुनाव लड़ाना चाहते हैं.
वाड्रा ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा हर मुद्दे पर मेरा नाम घसीट लेती है. ऐसे में मुझे भी राजनीति के मंच पर आकर ही अपनी बात जनता से कहनी होगी. उल्लेखनीय है कि वाड्रा जहां अब तक कारोबार तक ही सिमटे हुए थे वहीं उनकी पत्नी प्रियंका गांधी उत्त र प्रदेश की राजनीति में सक्रिय हैं. भाजपा के हिन्दुत्व की काट के रूप में वो इन दिनों सहारनपुर में शाकुभंरी देवी और संगम में स्नान के साथ वृदांवन में बांके बिहारी जैसे मठ-मंदिरों में दर्शन करती नजर आ रही हैं. साथ ही किसान बिरादारी से जुड़े हिंदु-मुस्लिम, सिख, जाट-गुर्जर और निषादों से मुलाकात के बाद अब दलितों को भी साधने की कवायद में जुट गयी हैं. ऐसे में अब उनके पति रॉबर्ट वाड्रा के राजनीति में आने से कांग्रेस का एक खेमा सहमा हुआ है. गांधी परिवार से खफा चल रहे पार्टी के कुछ वरिष्ठ नेताओं का मानना है कि रॉबर्ट की कांग्रेस में एंट्री से पार्टी को फायदा कम और नुकसान अधिक होगा.