
Ranchi: रांची सांसद संजय सेठ और पलामू सांसद बीडी राम ने एचईसी के श्रमिकों के भुगतान और मेकॉन के संबंध में बुधवार को केंद्र सरकार के पास अपनी बात रखी. दोनों की समस्याओं और उसके निदान को लेकर चर्चा की. नई दिल्ली में केंद्रीय इस्पात मंत्री आर. पी. सिंह से मुलाकात के दौरान दोनों सांसदों ने रांची में स्थापित मेकॉन के 1500 अधिकारी कर्मचारियों से जुड़े मसले पर बातचीत की.
संजय सेठ ने कहा कि इस्पात मंत्रालय के साथ काम करते हुए मेकॉन ने कई बड़ी उपलब्धि हासिल की है. देश के इस्पात उत्पादन में मेकॉन की भूमिका भी सराहनीय रही है. वर्तमान समय में यहां 1500 से अधिक अधिकारी कर्मचारी कार्यरत हैं. यहां के अधिकारी कर्मचारियों के पे रिवीजन व अन्य समस्याओं के समाधान पर विचार किए जाने की आवश्यकता है. इसके अलावा इस्पात उत्पादन के क्षेत्र में मेकॉन और बेहतर योगदान दे सके, इस दिशा में सकारात्मक पहल करने का आग्रह केंद्रीय मंत्री से किया गया.
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एचईसी के ढाई हजार परिवारों के सामने संकट




एचईसी के कामगारों के भुगतान के संबंध में संजय सेठ ने भारी उद्योग सचिव अरुण गोयल से नई दिल्ली में गुरुवार को ही मुलाकात की. सचिव से मुलाकात के दौरान उन्हें एचईसी की स्थिति से अवगत कराया. लंबे समय से चल रहे मजदूरों के हड़ताल, मजदूरों की आर्थिक स्थिति, उनके पारिवारिक स्थिति के साथ एचईसी की जमीनी हकीकत की भी जानकारी दी.
सेठ ने सचिव से आग्रह किया कि अविलंब श्रमिकों के भुगतान की व्यवस्था की जाए. लगभग ढाई हजार से अधिक परिवार इस भुगतान पर जीवन यापन करते हैं. जितनी जल्दी हो सके, इनका समाधान किया जाए और इन्हें भुगतान किया जाए. उनकी हड़ताल समाप्त कराई जानी चाहिये. सांसद ने एचईसी क्षेत्र के दुकानदारों की समस्याओं से भी अवगत कराया और इसके समुचित समाधान का आग्रह किया. बताया कि एचईसी झारखंड ही नहीं, पूरे देश का गौरव रहा है. अंतरिक्ष यान व यात्रा से भी जुड़े कई सामानों का उत्पादन यहां से किया जाता रहा है. वर्तमान समय में किन्हीं कारणों से एचईसी की स्थिति दयनीय है. एचईसी को पुनर्जीवित करने की दिशा में इसे पूंजी दी जाए. फिर से इसे खड़ा किया जाए ताकि क्षेत्र के कामगारों को रोजगार के साथ-साथ एचईसी का गौरव बना रहे. इस दौरान उनके साथ सांसद बी. डी. राम भी मौजूद थे.
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