
New Delhi : व्हाट्सएप यूजर्स के लिए ये डेटा और प्राइवेसी के लिहाज से बड़ी ख़बर है. हैकर्स ने पूरी दुनिया के 48.7 करोड़ व्हाट्सएप यूजर्स का डाटा हैक करके इंटरनेट पर बेचने के लिए जारी कर दिया है. इनमें 61.62 लाख फोन नंबर भारतीयों के हैं. इस डाटा में फोन नंबर, देश का नाम और एरिया कोड शामिल हैं. सभी डाटा सक्रिय उपभोक्ताओं के हैं.

16 नवंबर को जारी डाटा में 84 देशों के नागरिकों की सूचना हैं. देशों के अनुसार ही नंबरों की श्रेणियां बनाकर बेची जा रही हैं. हैकर ने साथ में जारी संदेश में लिखा, आज मैं इन व्हाट्सएप यूजर्स के डाटा बेस को बेच रहा हूं. यह 2022 का हालिया डाटा है. यानी आप इसे खरीदेंगे तो ताजा एक्टिव मोबाइल यूजर्स मिलेंगे.
मिस्र के सबसे ज्यादा, भारत 25वें नंबर पर
84 देशों में से सर्वाधिक 4.48 करोड़ यूजर्स का डाटा मिस्र का है. इसके बाद इटली के 3.56 करोड़, अमेरिका के 3.23 करोड़, सऊदी अरब के 2.88 करोड़ व फ्रांस के 1.98 करोड़ यूजर्स का डाटा शामिल है. हैक हुए यूजर्स की सूची में भारत 25वें नंबर पर है.
हैकर्स ने स्क्रैपिंग तकनीक से बनाया निशाना
कुछ साइबर विशेषज्ञों का अनुमान है कि यह काम स्क्रैपिंग हैकिंग तकनीक से हुआ. इस तकनीक में ऑनलाइन प्लेटफॉर्म यूजर्स की जानकारियां बड़ी संख्या में किसी प्रोग्राम के जरिए चुरा कर स्टोर की जाती हैं. ऐसी गतिविधि व्हाट्सएप कंपनी की यूजर शर्तों का उल्लंघन है, लेकिन व्हाट्सएप खुद इसे रोक नहीं पाया.
बचाव : अगर स्क्रैपिंग का अनुमान सही है तो यह हैक खुद व्हाट्सएप कंपनी की कमजोरी से हुआ है. इससे बचने के लिए यूजर्स कुछ नहीं कर सकते थे. हालांकि, इन नंबरों को कोई अजनबी अपने फोन में सेव करके आपकी प्रोफाइल फोटो, स्टेटस, अबाउट इंफो, ऑनलाइन होने की जानकारी, प्रोफाइल नाम आदि देख सकता है.
बचने के लिए आप व्हाट्सएप की सैटिंग्स में जा कर प्राइवेसी बदल कर इसे ‘कॉन्टैक्ट ओनली’ कर सकते हैं. इससे केवल वही लोग बताई गई चीजें देख पाएंगे जो आपके कांटेक्ट में हैं.
खतरे : कौन खरीदेगा यह नंबर
इन नंबरों का सबसे बड़ा इस्तेमाल मार्केटिंग में हो सकता है. खासतौर पर वित्तीय सेवाएं दे रही कंपनियां इनका उपयोग अपने उत्पाद बेचने के लिए यूजर्स को कॉल या मैसेज भेजने में कर सकती हैं. लेकिन ज्यादा बड़ा खतरा फिशिंग व फ्रॉड का है.
इसमें वे यूजर्स शिकार बन सकते हैं, जिनका व्हाट्सएप नंबर और बैंकिंग वित्तीय सेवाओं से जुड़ा नंबर एक ही है. आजकल दोनों कामों में एक ही नंबर उपयोग होने लगे हैं. तीसरा खतरा, इन नंबरों के जरिए यूजर्स की पहचान का दुरुपयोग किसी अन्य को धोखा देने में हो सकता है.
25% यूजर्स का डाटा चोरी
व्हाट्सएप पर एक महीने में करीब 200 करोड़ यूजर्स एक्टिव रहते हैं. 48.7 करोड़ यूजर्स का डाटा हैक हुआ बताया जा रहा है. इस लिहाज से 25% लोगों का डाटा चोरी हुआ है. विभिन्न साइबर सुरक्षा एजेंसियों ने कुछ सैंपल नंबरों को वेरिफाई किया, वे सही पाए गए. मेटा ने इतने बड़े हैक पर कोई बयान जारी नहीं किया है.
इसे भी पढ़ें: Chaibasa : लोक अदालत में 67 मामलों का हुआ निष्पादन