
Ranchi: झारखंड सरकार के पदों पर अनुसूचित जाति,अनुसूचित जनजाति का अपर्याप्त प्रतिनिधित्व पर अध्ययन रिपोर्ट तैयार करने के लिए गठित समिति की रिपोर्ट के बाद राज्य सरकार रिम्स सहित कई संस्थानों से नये सिरे से प्रमोशन के आंकड़े जुटायेगी. कार्मिक विभाग इसके लिए कार्य कर रहा है. हालांकि, समिति ने अपनी रिपोर्ट में विभिन्न विभागों में एसटी, एससी के प्रतिनिधित्व को काफी कम बताया है.
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जिसके बाद सरकार ने झारखंड सरकार के विभिन्न पदों पर आरक्षण के आधार पर प्रोन्नति सरकारी सेवकों को परिणामी वरीयता का विस्तार विधेयक 2022 की मंजूरी दी है. इसके तहत एसटी,एससी को प्रमोशन में परिणामी वरीयता का लाभ मिलेगा. इसे विधानसभा से पारित कराया जायेगा. यह विधेयक रिम्स सहित अन्य वैसे महत्वपूर्ण संस्थानों में भी लागू होगा पर वहां अभी पूरी तरह से आंकड़ें नहीं होने से बाद में परेशानी होगी. ऐसे में विभाग ने अब इनका आंकड़ा जुटाने की अलग से तैयारी कर रहा है.
बता दें कि उच्चस्तरीय समिति को राज्य के कई महत्वपूर्ण संस्थानों से पदोन्नति संबंधि आंकड़े प्राप्त नहीं हुए हैं. ऐसे में समिति ने सरकार से इन संगठनों के मामलों के अलग से उठाकर पदोन्नति संबंधी आंकड़ों का अध्ययन और लेखा परीक्षा कराने की सिफारिश की है. समिति को आंकड़ों के संग्रह और संकलन में कई कठिनाई का सामना करना पड़ा. क्योंकि अधिकांश विभाग,निगमों और संगठनों जैसे रिम्स,झारखंड उर्ज विकास निगम, झारखंड उर्जा बिजली वितरण निगम लिमिटेड में वर्षवार पदोन्नति का आंकड़ा उपलब्ध नहीं था. वहीं, झारखंड उर्जा संचालन निगम लिमिटेड ,रांची न्यूरो साइक्रियाट्री एवं एलाइड सांइसेज,रिनपास संस्थानों को अनेक रिमाइंडर के बाद भी प्रमोशन संबंधी आंकड़े वे प्रस्तुत नहीं कर सके. ऐसे में समिति ने कार्मिक विभाग ने इन संस्थानों के मामलें में अलग से लेखा परीक्षा कराने का सिफारिश किया है.